बेचैनी की हद उनसे बयां कैसे हो
बातों मे सही उनका ज़िक्र तो हो...
हाल ए दिल इस दफ़ा बोल तो दे
बस उनसे एक मुलाकात तो हो...
जो आँखें मिलाऊ खुद से तो आँखों मे पानी पाता हूँ जो मै दिल मे झांक लूँ तो खुद जिन्दा दिल हो जाता हूँ हर धड़कन के साथ साथ जीने का हौसला भर जाता हूँ
Comments
Post a Comment